महेश प्रताप सिंह राणा के आवास पर शिवालिक नगर भेल के विशिष्ट नागरिको की उपस्तिथि में एक बैठक का आयोजन किया गया।
यह बैठक वरिष्ठ समाजसेवी मेहर सिंह की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई। बैठक का मुख्य उद्देश्य लोकतंत्र के महापर्व चुनावों में आम जनमानस की घटती हुई भागेदारी के ऊपर चिंतन करना रहा। 2012 वर्ष के विधानसभा चुनावों में रानीपुर भेल में चुनाव आयोग के अनुसार कुल 1,13,343 मतदाता सूचीबद्ध किये गए, जिनमे से केवल 93000 के करीब मतदाताओं ने चुनाव में प्रतिभाग किया और अपने मतदान के सविंधानिक अधिकार का प्रयोग किया। वर्ष 2017 के विधानसभा चुनावों में मतदाताओं की संख्या बढ़कर 1,46,932 हो गई परन्तु इस बार भी 40000 से ज्यादा मतदाताओं लोकतान्त्रिक अधिकार का प्रयोग नहीं किया गया। जबकि दोनों बार यह देखने में आया की वर्ष 2012 में केवल 26402 वोटों के साथ ही विधायक निर्वाचित हो गए थे। जबकि लगभग 25000 मतदाता मतदान केंद्र तक नहीं पहुंचे। इसी प्रकार वर्ष 2017 में भी विजयी होने वाले विधायक को 57000 के लगभग वोट मिले और 40000 के लगभग मतदाताओं ने चुनाव प्रक्रिया में प्रतिभाग नहीं किया। यह विसंगति स्वस्थ लोकतान्त्रिक प्रक्रिया में कैंसर की भांति है। हालाँकि भारतीय निर्वाचन आयोग चुनाव प्रक्रिया को पारदर्शी और स्पष्ट बनाने के लिए दिन रात प्रयासरत है। परन्तु फिर भी वह मतदाताओं को मतदान करने के लिए पूरी तरह से जागरूक और प्रोत्साहित नहीं कर पा रहा है। देश में लोकसभा चुनाव हो या राज्यों में विधानसभा चुनाव, हर बार 30 से 40 प्रतिशत मतदाता अधिकांश चुनाव प्रक्रिया में भाग नहीं लेते है। इसका चुनाव प्रक्रिया के साथ साथ चुनाव परिणाम पर और लोकतंत्र की आत्मा पर गहरा आघात लगता है। वास्तविकता में लोकतंत्र में अपनी सरकार चुनने के अधिकार ही हमे स्वतंत्रता की अनुभूति देता है, अन्यथा भारतवर्ष के लोग अंग्रेजो के वर्षों से गुलाम रहे है।
महेश प्रताप राणा ने कहा की लोगों की चुनाव प्रक्रिया में भागेदारी बढ़ाने के लिए उन्हें और जागरूक करने की आवश्यकता है। यह भी समझने की आवश्यकता है जिस अवसर और अधिकार के लिए हमारे पूर्वजों ने अंग्रेजी हुकूमत से संघर्ष किया और उनके बलिदान से यद्यपि हमें यह अधिकार मिल भी गया है। तो ऐसे क्या कारण है। की देश का नागरिक अपने स्वतंत्रता के अधिकार को लेकर इतने बड़ी संख्या में उदासीन हो गया है। चुनाव वास्तविकता में आजादी का सबसे बड़ा “जश्न” है। जिस प्रकार से दीपावली को हर घर में रौशनी की जाती है। उसी प्रकार चुनाव के समय प्रत्येक मतदाता को मतदान करके अपनी आजादी की अनुभूति भी करनी चाहिए व आजादी के इस उत्सव में पुरे जोश से प्रतिभाग भी करना चाहिए। उन्होंने क्षेत्र के लोगो के मतदान सम्बन्धी परेशानियों और उदासीनता को दूर करने के लिए, उन्हें मतदान के लिए जागरूक करने के लिए और प्रत्येक मतदाता मतदान करे, इस उद्देश्य की पूर्ति के लिए लोकतंत्र और देश की प्रति अपने सबसे प्राथमिक और महत्वपूर्ण कर्तव्य के निर्वहन के लिए मतदान सहयोग समिति के गठन का प्रस्ताव किया। बैठक में उपस्तिथ सभी गणमान्य व्यक्तियों ने इस प्रस्ताव को सहर्ष स्वीकार किया। इस समिति का मुख्य उद्देश्य चुनाव आयोग के साथ मिलकर, यह जानना रहेगा कि मतदाता चुनाव के दिन मतदान करने क्यों नहीं आता या आ पाता, साथ ही इन कारणों की जाँच करके एवं समझ कर, उसे मतदान केंद्र तक लाने के लिए प्रोत्साहित करने और सहयोग करने की दिशा में काम करना होगा।
मतदाता सहयोग समिति क्षेत्र की जनता व प्रत्येक मतदाता की लोकतंत्र के महापर्व में उत्साहपूर्वक भागेदारी सुनिश्चित करने की दिशा में अभियान चलाने का काम करेगी। इस बैठक में अशोक उपाध्याय , श्री मणि राम बागड़ी जी, एल एस रावत जी, गुलबीर चौधरी जी, कमल जीत रोहिल्ला जी, सत्यपाल शास्त्री जी, सुगर सिंह यादव जी, सत्येंदर वर्मा, योगेंदर सिंह राणा, अखिलेश मिश्रा, राधा मोहन अस्थाना जी, सी पी सिंह, एस एन यादव जी, विक्रम कपूर, लक्ष्मी प्रसाद वर्मा, परवीन कपिल, विनीश सिंह, अजय शाह, एम् पी सिंह राणा, कपिल रोहिल्ला, मोहन राणा, संदीप सिंह, प्रीतम बर्मन व लाला सिंह आदि उपस्तिथ रहे।
2021-09-15